Valley of Flowers ( फूलों की घाटी)
उत्तराखंड को देवभूमि कहा जाता है | यह ऋषि मुनियों की तपोभूमि भी रही है | यहाँ अनेको प्रसिद्ध मंदिर जैसे बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री , यमुनोत्री , जागेश्वर धाम है और हरिद्वार और ऋषिकेश जैसे प्रसिद्ध तीर्थस्थल भी है | इसके अलावा नैनीताल , मंसूरी जैसे अनेको हिल स्टेशन भी है |
यदि आप प्रकृति प्रेमी ( Nature Lovers ) और साहसिक प्रेमी ( Adventure Lovers ) है और प्रकृति को करीब से देखना चाह्ते है , महसूस करना चाहते है तो वैली ऑफ़ फ्लावर्स यानि फूलों की घाटी आपके लिए एक बेहतरीन जगह हो सकती है |
फूलों की घाटी जाने के लिए आपको लगभग 28 km की ट्रैकिंग करनी पड़ती है |
फूलों की घाटी, उत्तराखंड के चमोली जिले में जोशीमठ के पास स्थित है, जो ऋषिकेश के उत्तर में लगभग 300 किमी दूर है। यह एक खूबसूरत राष्ट्रीय उद्यान है, जो पश्चिमी हिमालय की सुंदरता को दर्शाता है। फूलों की घाटी की खोज 1931 में की गई थी और यह सफेद चोटियों से घिरे अपने अनेको फूलों के लिए एक विश्व धरोहर स्थल है।
फूलों की घाटी जाने के लिए दिल्ली से पहले ऋषिकेश , फिर जोशीमठ होते होते गोविंदघाट तक बस या टैक्सी द्वारा पहुंचा जा सकता है | ट्रेन द्वारा ऋषिकेश तक और हवाई जहाज द्वारा देहरादून तक जाया जा सकता है |
प्राइवेट गाड़ी केवल गोविंदघाट तक ही ले जाई जा सकती है | गोविन्दघाट से पुलना तक लगभग 4 km जीप / टैक्सी द्वारा जाया जाता है | उसके बाद 10 km की ट्रैकिंग करके आप घांघरिया पहुंचेंगे | वहां पर होटल में रहने की व्यवस्था है |
घांघरिया से लगभग 4 km की ट्रैकिंग के बाद आप फूलों की घाटी में पहुँचते है | यह 87.50 वर्ग किमी के विस्तार में फैला है और यह लगभग 8 किमी लंबा और 2 किमी चौड़ा है | फूलों की घाटी में प्रवेश के लिए प्रवेश शुल्क रु 150/= है |
यात्रा का सबसे अच्छा समय इस बात पर निर्भर करता है कि आप क्या देखना पसंद करते हैं और आप कितने ROUGH & TOUGH हैं। आपको जुलाई और अगस्त में फूलों की अधिकतम संख्या मिलेगी।
उत्तराखंड को देवभूमि कहा जाता है | यह ऋषि मुनियों की तपोभूमि भी रही है | यहाँ अनेको प्रसिद्ध मंदिर जैसे बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री , यमुनोत्री , जागेश्वर धाम है और हरिद्वार और ऋषिकेश जैसे प्रसिद्ध तीर्थस्थल भी है | इसके अलावा नैनीताल , मंसूरी जैसे अनेको हिल स्टेशन भी है |
यदि आप प्रकृति प्रेमी ( Nature Lovers ) और साहसिक प्रेमी ( Adventure Lovers ) है और प्रकृति को करीब से देखना चाह्ते है , महसूस करना चाहते है तो वैली ऑफ़ फ्लावर्स यानि फूलों की घाटी आपके लिए एक बेहतरीन जगह हो सकती है |
फूलों की घाटी जाने के लिए आपको लगभग 28 km की ट्रैकिंग करनी पड़ती है |
फूलों की घाटी, उत्तराखंड के चमोली जिले में जोशीमठ के पास स्थित है, जो ऋषिकेश के उत्तर में लगभग 300 किमी दूर है। यह एक खूबसूरत राष्ट्रीय उद्यान है, जो पश्चिमी हिमालय की सुंदरता को दर्शाता है। फूलों की घाटी की खोज 1931 में की गई थी और यह सफेद चोटियों से घिरे अपने अनेको फूलों के लिए एक विश्व धरोहर स्थल है।
फूलों की घाटी जाने के लिए दिल्ली से पहले ऋषिकेश , फिर जोशीमठ होते होते गोविंदघाट तक बस या टैक्सी द्वारा पहुंचा जा सकता है | ट्रेन द्वारा ऋषिकेश तक और हवाई जहाज द्वारा देहरादून तक जाया जा सकता है |
प्राइवेट गाड़ी केवल गोविंदघाट तक ही ले जाई जा सकती है | गोविन्दघाट से पुलना तक लगभग 4 km जीप / टैक्सी द्वारा जाया जाता है | उसके बाद 10 km की ट्रैकिंग करके आप घांघरिया पहुंचेंगे | वहां पर होटल में रहने की व्यवस्था है |
घांघरिया से लगभग 4 km की ट्रैकिंग के बाद आप फूलों की घाटी में पहुँचते है | यह 87.50 वर्ग किमी के विस्तार में फैला है और यह लगभग 8 किमी लंबा और 2 किमी चौड़ा है | फूलों की घाटी में प्रवेश के लिए प्रवेश शुल्क रु 150/= है |
यात्रा का सबसे अच्छा समय इस बात पर निर्भर करता है कि आप क्या देखना पसंद करते हैं और आप कितने ROUGH & TOUGH हैं। आपको जुलाई और अगस्त में फूलों की अधिकतम संख्या मिलेगी।